नई दिल्ली: मौसम विभाग (IMD) की मानें तो आने वाले समय में धीरे-धीरे ठंड (Cold Wave) का असर दिल्ली-एनसीआर में कम होगा। फरवरी के आखिरी तक हल्की ठंड बचेगी और इसका असर मार्च के दूसरे हफ्ते तक देखने को मिल सकता है। स्काई मेट वेदर (Skymet ) के अनुसार कोई पश्चिमी विक्षोभ नहीं होने के कारण सर्दी का असर कम होता जाएगा। जनवरी में इस बार जहां बारिश का 122 सालों का रिकॉर्ड टूटा वहीं ठंड का 72 साल का रिकॉर्ड बना। इस साल गर्मी कितनी पड़ेगी इसको लेकर फिलहाल कोई पूर्वानुमान मौसम विभाग की ओर से जारी नहीं किया गया है और यह फरवरी के आखिरी हफ्ते में आ सकता है। मई-जून में नहीं पड़ेगी वैसी गर्मी बिहार में इस साल मई- जून के महीने में उतनी गर्मी नहीं पड़ेगी जितनी पड़ती है। एक पैटर्न को देख इस बात की संभावना व्यक्त की गई है। बीते 60 साल में जब भी राज्य में अत्यधिक ठंड और शीतलहर रही तब- तब मई और जून महीने में उतनी गर्मी नहीं पड़ी। इस साल अधिक ठंड पड़ने के कारण कहा जा रहा है कि गर्मी कम पड़ेगी। मौसम विभाग के एक अधिकारी के मुताबिक जब भी जनवरी महीना अधिक ठंडा रहा और काफी समय तक तापमान में कमी रहती है उस साल मई महीने में तापमान 40 डिग्री के आसपास ही तापमान रहता है और गर्मी बढ़ने के साथ ही तेज हवाओं के साथ बारिश भी हुई है। मार्च के महीने में बदलेगा मौसम का मिजाज यूपी में पिछले कुछ दिनों से मौसम साफ है और धूप खिल रही है। हालांकि यह भी कहा गया है कि इस बार प्रदेश में गर्मी जल्दी नहीं आने वाली। मार्च के महीने में होली के आस- पास जमकर बारिश की संभावना जताई गई है। मौसम वैज्ञानिकों का कहना है कि पश्चिमी विक्षोभ कमजोर पड़ गया है जिसके कारण फरवरी में तापमान बढ़ा हुआ है। मार्च में इसमें बदलाव होगा और यूपी के कई हिस्सों में बारिश हो सकती है। मौसम वैज्ञानिक के अनुसार आने वाले समय में तापमान में बढ़ोत्तरी होगी लेकिन यह सामान्य से कम ही रहेगा। वहीं वेस्ट यूपी को लेकर भी मौसम विभाग की ओर से कहा गया है कि गर्मी थोड़ी देर से पड़ेगी। गर्मी देर से पड़ने की वजह से फसलों को नुकसान नहीं होगा और इससे गेंहूं की पैदावार बढ़ सकती है।
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