लंदन ब्रिटेन में एक परिवार के प्राचीन चीनी कलाकृतियों के संग्रह की कीमत 8 मिलियन पाउंड यानी 81 करोड़ रुपए से भी ज्यादा निकली। इस कलेक्शन में दुर्लभ शाही कलाकृतियां शामिल हैं। इस संग्रह की शुरुआत 1919 में प्रथम विश्व युद्ध के दौरान अधिकारी एडवर्ड पैरी और उनकी पत्नी एंजेला ने की थी। अंतरराष्ट्रीय नीलामी में भारी मांग के साथ यह कलेक्शन जिसमें 100 से अधिक प्राचीन वस्तुएं शामिल थीं, लगभग 8 मिलियन पाउंड में बिका। यह कलेक्शन एक परिवार की तीन पीढ़ियों से होकर गुजरा है। आखिरकार इसे लंदन के नीलामीकर्ता बोनहम्स के माध्यम से बेच दिया गया। इनमें कुछ अवशेष अपने पूर्व-बिक्री अनुमानों के लगभग 15 गुना अधिक दाम पर बिके। इन्हें खरीदते हुए चीन के कुछ अमीर खरीदार अपनी खोई हुई विरासत को दोबारा हासिल करने का दावा कर रहे थे। बौद्ध शेर के कवर वाला एक कियानलांग धूप बर्नर मूल रूप से 80,000 पाउंड की कीमत का था लेकिन 1.22 मिलियन पाउंड में बेचा गया। अनुमानित कीमत से तीन गुना महंगा बिका कलेक्शनइनमें से सबसे महंगी बिकने वाली चीज नीले तरबूज के आकार का एक टीपॉट था जिसे खुद सम्राट कियानलॉन्ग इस्तेमाल करते थे। सम्राट कियानलॉन्ग का शासनकाल 1736 से 1795 के बीच था। यह अपनी अनुमानित कीमत 800,000 पाउंड से कहीं ज्यादा 2.06 मिलियन पाउंड में बिका। पूरा कलेक्शन कुल 7.89 मिलियन पाउंड की कीमत पर बिका जो इसकी अनुमानित कीमत 3 मिलियन पाउंड से बेहद ज्यादा थी। घर में भरी थीं प्राचीन कलाकृतियांएडवर्ड और एंजेला पैरी ने डेवोन में अपने घर और लंदन में अपने टाउनहाउस को प्राचीन चीनी वस्तुओं से भर दिया था। दंपति के तीन बेटे थे, जिनमें से एक, जॉन पैरी को 1942 में मिलिट्री क्रॉस से सम्मानित किया गया था। एडवर्ड पैरी का 1946 में 67 वर्ष की आयु में निधन हो गया, जबकि एंजेला की 1977 में मृत्यु हो गई।
from World News in Hindi, दुनिया न्यूज़, International News Headlines in Hindi, दुनिया समाचार, दुनिया खबरें, विश्व समाचार | Navbharat Times https://ift.tt/3BJtR5I